चीनी पैसे और दर्शकों के सहारे चल रही हैं हॉलीवुड की फिल्में, दुनिया का सबसे बड़ा सिनेमा बाजार बन सकता है

हॉलीवुड पर चीन का प्रभाव बढ़ता जा रहा है। अमेरिका में ज्यादातर सिनेमाघर बंद हैं, लेकिन चीन में मूवी थिएटर खुल चुके हैं। संभव है कि चीन इस साल फिल्मों से टिकट खिड़की पर आमदनी के मामले में अमेरिका को पीछे छोड़ दे। वह इस तरह दुनिया का सबसे बड़ा सिनेमा बाजार बन जाएगा।

इसके साथ चीनी मीडिया कंपनियां अमेरिकी फिल्मों में काफी पैसा लगा रही हैं। इसका नतीजा है कि मुलान, पैसिफिक रिम और कुंग फू पंडा से लेकर कई हॉलीवुड फिल्में चीन के बाजार को ध्यान में रखकर बनाई गई हैं।

चीन में इस सप्ताह युद्ध पर आधारित अमेरिकी फिल्म- ‘द ऐट हंड्रेड’ लोगों ने सोशल डिस्टेंसिंग का ध्यान रखते हुए देखी है। अगले सप्ताह डिज्नी अपनी फिल्म मुलान को पश्चिमी देशों में स्ट्रीमिंग के माध्यम से रिलीज करेगी। उधर, चीनी दर्शक थिएटरों में फिल्म देख सकेंगे। चीनी दर्शकों और पैसे के कारण अमेरिकी फिल्में चीनी सेंसर के हिसाब से बनाई गई हैं।

कई बार फिल्म का चीनी संस्करण चीनियों को खुश रखने के हिसाब से बदला जाता है। वैश्विक दर्शकों के लिए दूसरी फिल्म पेश की जाती है। अमेरिका के अटॉर्नी जनरल ने फिल्म इंडस्ट्री पर चीन की नीतियों का पालन करने का आरोप लगाया है। अमेरिकी सीनेटर टेड क्रुज ने चीनी सेंसरों के हिसाब से फिल्म को संपादित करने वाले हॉलीवुड स्टूडियो और फिल्म कंपनियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।

कई बार नक्शे और झंडे बदलवाए गए

चीनी सेंसरशिप को लेकर आशंकाओं के बादल हैं। कुछ चीनी अधिकारी बेतुकी मांग करते हैं जैसे कि मिशन: इम्पॉसिबल 3 में शंघाई में दिखाई गई गंदगी को हटाया जाए। कई बार नक्शे और झंडे बदलवाए गए हैं। चीन में फिल्म रिलीज करने के लिए थ्येनऑनमन, ताईवान और तिब्बत का जिक्र नहीं होना चाहिए। किसी समय अमेरिकी एक्टर दलाईलामा के साथ तस्वीर खिंचवाना पसंद करते थे। अब वे जानते हैं कि ऐसी सेल्फी चीन में उनकी फिल्म को ब्लैक लिस्ट में डाल सकती है।

चीन में बॉक्स ऑफिस से 73 हजार करोड़ रु. की कमाई
पहले हॉलीवुड में चीन की कद्र नहीं थी। उसने 2005 में वहां बॉक्सऑफिस से दो हजार करोड़ रुपए कमाए थे। पिछले साल यह आंकड़ा लगभग 73 हजार करोड़ रुपए हो गया। चीन में यूरोप और अमेरिका के बराबर सिनेमा स्क्रीन हैं। इसलिए सौ साल तक अमेरिकी कथानक पर केंद्रित फिल्मों के स्थान पर अब ऐसे सुपरहीरो और राजकुमारियों को जगह मिल रही है, जो पश्चिमी नहीं हैं।



आज की ताज़ा ख़बरें पढ़ने के लिए दैनिक भास्कर ऍप डाउनलोड करें
चीन में यूरोप और अमेरिका के बराबर सिनेमा स्क्रीन हैं।


from Dainik Bhaskar https://ift.tt/2EP0QO3
via IFTTT

Comments

Popular posts from this blog

लॉकडाउन में दोस्त को भूखा देख कश्मीरी ने शुरू की टिफिन सर्विस, 3 लाख रु. महीना टर्नओवर

सिंगरौली में 2 मालगाड़ी आमने-सामने टकराईं, 3 लोको पायलट की मौत

तेंदुलकर, रैना और धवन समेत कई खिलाड़ियों ने राफेल का स्वागत किया, सचिन बोले- इस अपग्रेड से डिफेंस सिस्टम को मजबूती मिलेगी